डायरेक्टर रोहित शेट्टी की हर रिलीज फिल्म बॉक्स ऑफिस पर ब्लॉकबस्टर साबित होती है. रोहित मसाला और मनोरंजक फिल्में बनाने के लिए मशहूर हैं. फिलहाल रोहित सफलता के मुकाम पर हैं, इसे हासिल करने के लिए उन्हें काफी संघर्ष का सामना करना पड़ा है. तो आइये जानते है किस तरह रोहित ने सफलता हासिल करी
पैसे की वजह से नहीं कर पाए थे पढ़ाई
डायरेक्टर रोहित शेट्टी का जन्म मुंबई में हुआ था. उनकी मां का नाम रत्ना शेट्टी है, जो बॉलीवुड की जूनियर आर्टिस्ट रह चुकी हैं. रोहित शेट्टी मशहूर स्टंटमैन और विलेन एमबी शेट्टी के बेटे हैं. पिता के गुजर जाने के बाद उन्होंने अपनी पढ़ाई बिच में ही छोड़ दी. दो बहनों और मां की जिम्मेदारी रोहित शेट्टी के सिर पर आ गई.
रोहित शेट्टी ने एक इंटरव्यू के दौरान बताया “मेरी पहली कमाई 35 रुपये थी. घर चलाने के लिए पैसे नहीं होते थे इस वजह से मैंने कॉलेज छोड़कर काम करना शुरू किया. मुझे पता था कि पढ़ूंगा तो घर का खर्चा कैसे चलेगा. इस कारण मैंने पढ़ाई छोड़ देना ही उचित समझा.” रोहित ने यह भी बताया था कि उन्होंने एक्ट्रेस तब्बू की साड़ी तक प्रेस करी हुई है.
इस तरह करी थी करियर की शुरुआत
रोहित ने 17 साल की उम्र में फिल्म फूल और कांटे से अपने करियर की शुरुआत की थी. उन्होंने इस फिल्म के लिए बतौर निर्देशक काम करा था. वर्ष 2003 में पहली फिल्म जमीन का निर्देशन किया गया था. हालांकि यह फिल्म दर्शकों का दिल जीतने में कामयाब नहीं हो पाई. इसके बाद उन्होंने अजय देवगन के साथ गोलमाल बनाई जो बॉक्स ऑफिस पर बड़ी हिट साबित हुई. इसके बाद उन्होंने रुकने का नाम लिया और सफलता की सीढ़ियां तेजी से चढ़ते रहे.
‘गोलमाल’ फिल्म के अभी तक चार पार्ट आ गए हैं और चारों ने ही बॉक्स ऑफिस पर रिकॉर्ड तोड़ कमाई करी है.
अभिनेता अजय देवगन रोहित के पसंदीदा अभिनेताओं में से एक हैं. अजय के साथ उन्होंने गोलमाल रिटर्न, ऑल द बेस्ट, गोलमाल 3, फूल और कांटे, गोलमाल, संडे, सिंघम, सिंघम रिटर्न, बोल बच्चन, गोलमान अगेन जैसी फिल्में बनाई हैं.
अजय देवगन को मानते है अपना लकी चार्म
एक इंटरव्यू के दौरान रोहित ने बताया था अजय की जगह कोई भी नहीं ले सकता. रोहित शेट्टी अजय देवगन को अपना लकी चार्म मानते हैं. वह हमेशा से मेरा सपोर्ट सिस्टम रहे हैं. आज मैं जो कुछ भी हूं सिर्फ अजय देवगन की वजह से ही हूं. मैंने अजय के साथ जमीन बनाई थी, जो पूरी तरह से फ्लॉप फिल्म रही थी. उस वक्त लोगों ने मेरा फोन उठाना भी बंद कर दिया. मगर सिर्फ अजय ही अकेले थे जिन्होंने मेरा पूरा साथ दिया. उस मुश्किल वक्त में उन्होंने मेरा साथ नहीं छोड़ा. उनकी वजह से मैं गोलमाल जैसी हिट फिल्में बना सका.