कभी गुरुद्वारे में सोकर बिताते थे रात, गरीबी में बिता बचपन; आज है 60 करोड़ रुपये के मालिक

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ऋषभ पंत आज एक मशहूर क्रिकटेरों में से एक है. उन्होंने अपनी कड़ी महेनत से ही यह मुकाम हासिल करा है. रुड़की, उत्तराखंड में रहने वाले पंत का परिवार चाहता था कि उन्हें दिल्ली क्रिकेट की शीर्ष अकादमी में भर्ती कराया जाए. पंत ने एक इंटरव्यू में अपने संघर्ष की कहानी सुनाई.

इस तरह करी थी शुरुआत
पंत ने एक इंटरव्यू में कहा था, “मैं अभ्यास करने के लिए स्कूल से ही चला जाता था. उस समय यह नहीं सोचा था कि मुझे एक पेशेवर क्रिकेटर बनना है, मगर मेरे पिता चाहते थे कि मैं एक क्रिकेटर बनूं. मैंने एक टूर्नामेंट के लगभग 5 मैचों में 115 रन बनाए थे. फिर इसके लिए मुझे मैन ऑफ द सीरीज मिला था. फिर धीरे धीरे मेरा नाम होने लगा. रुड़की में लोग मुझे काफी जानने लगे और मैंने स्थानीय क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया.” रुड़की से दिल्ली आने को लेकर पंत ने कहा, “रोडवेज की बस सुबह चलती थी. सुबह 2 या 2:30 बजे बस पकड़ लेता था. सर से कहता था कि मैं दिल्ली में ही हूं. में बस से उतरकर सीधे अभ्यास के लिए पहुंच जाता होता था.”

माँ करती थी गुरुद्वारे में सेवा
पंत ने आगे कहा, “मैं जब भी दिल्ली आता था तो मेरा फिक्स नहीं था कि मैंने कहां रूकना है. मैं गुरुद्वारे में अकेला रह जाता था. वहां एक वीडियो गेम पार्लर भी होता था. रात में 2 घंटे तक वीडियो गेम खेलने लगता. पार्लर वाले से भी बातचीत हो चुकी थी. मैं वहां हर बार जाता था, इस वजह से मैं उसके यहां ही सो जाता होता था. मेरे मम्मी-पापा ने मुझे अकेले नहीं आने दिया करते थे. मेरी माँ मेरे साथ आती थी. वह मेरे अभ्यास के दौरान गुरुद्वारे में लोगों की सेवा करती थीं. वह वहां सबकी मदद करती थी.”

अंडर-12 टूर्नामेंट में लगाए थे तीन शतक
ऋषभ के कोच देवेंद्र शर्मा के अनुसार, पंत के पिता ने 6-7 साल पहले दोनों को एक कैंप में मिलाया था. ऋषभ को दिल्ली में कोचिंग लेनी थी. इस वजह से वह अपनी मां के साथ राजधानी आया. एक अंडर-12 टूर्नामेंट में पंत ने तीन शतक लगाए और प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब जीत लिया. इसके तुरंत बाद, उन्हें वायु सेना स्कूल, दिल्ली कैंट में प्रवेश मिल गया. फिर पंत ने कभी भी पीछे मुड़कर नहीं देखा. अंडर-19 वर्ल्ड कप साल 2016 में नेपाल के खिलाफ 18 गेंदों में अर्धशतक लगाकर नया रिकॉर्ड बनाया.

दिल्ली डेयरडेविल्स ने खरीद लिया था 1.9 करोड़ रुपये में
पंत ने इसी टूर्नामेंट में नामीबिया के खिलाफ शतक लगाकर टीम इंडिया को सेमीफाइनल में पहुंच जाने में मदद करी थी. इंडियन प्रीमियर लीग में उसी दिन पंत को दिल्ली डेयरडेविल्स ने 1.9 करोड़ रुपये में खरीद लिया था.
बहुत आक्रामक बल्लेबाजी करने वाले पंत ने 2016-17 क्रिकेट सीजन में झारखंड के खिलाफ 48 गेंदों में शतक जड़कर पूरी तरह से तहलका मचा दिया था. पंत ने रणजी ट्रॉफी में महाराष्ट्र के खिलाफ तिहरा शतक भी बनाया था. आज वह टीम के सर्वश्रेष्ठ युवा खिलाड़ियों में से एक हैं.

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